Mera Pahad > MeraPahad/Apna Uttarakhand: An introduction - मेरा पहाड़/अपना उत्तराखण्ड : एक परिचय
Poster by Mera Pahad / 'मेरा पहाड़ नेटवर्क' के सदस्यों द्वारा बनाये गए पोस्टर
विनोद सिंह गढ़िया:
[justify]'मेरा पहाड़ फोरम' के सम्मानित अतिथि/सदस्यगण/उत्तराखण्ड प्रेमी,
इस टॉपिक के माध्यम से हम 'मेरा पहाड़ फोरम' के सदस्यों द्वारा उत्तराखण्ड की भाषा,कला,संस्कृति,साहित्य आदि पर बनाये गए पोस्टरों को आपके सम्मुख रखेंगे। आप इन पोस्टरों को मेरा पहाड़ डॉट कॉम नेटवर्क के फेसबुक पेज म्यर पहाड़-A Community of Uttarakhand Lovers पर भी देख सकते हैं।
उम्मीद है कि ये पोस्टर हमारे उत्तराखण्ड की भाषा,कला,संस्कृति,साहित्य के उत्थान में सहायक सिद्ध होंगे।
धन्यवाद
(विनोद सिंह गड़िया) [/justify]
विनोद सिंह गढ़िया:
शुभारम्भ करें उत्तराखंड की एक खड़ी होली से।
विनोद सिंह गढ़िया:
विनोद सिंह गढ़िया:
उत्तराखण्ड के हास्य कवि स्वर्गीय श्री शेर दा 'अनपढ़' का हमारे नवयुवकों के लिए सन्देश।
विनोद सिंह गढ़िया:
दोस्तों क्या आपको मालूम है कि कुछ वर्षों पहले तक हमारे उत्तराखण्ड में बाघ से हमारे मवेशियों की सुरक्षा के लिए गोठ (गौशाला) के मुख्य दरवाजे पर जुआ (बैल जोतने वाला) खड़ा किया जाता था ? लोग कहते थे कि दरवाजे पर जुआ खड़ा करने से रात्रि को बाघ गौशाला में नहीं घुसता है। यह उत्तराखंडी मुहावरा इसी का प्रमाण है।
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