क्या हम अपने देवी देवताओं की पूजा मांस ओर बलि की जगह नारियल, दुध ओर फूलो से क्यूँ नहीं कर सकते क्या ऐसे करने से भगवान खुश नही होंगे. हमारे शास्त्रों में कहाँ लिखा हे की बलि देने से ही भगवान खुश होते है!
नही चाहे हमें एसे भगवान जो किसी के अस्तित्व पर ही प्रशनचिन्ह लगा दें!
साफ सी बात हे की हम लोग सुधारना नही चाहते, हम लोग एसे पुराने रिवाजों से हटकर कुछ नया नही सोचना चाहते हम सब को एक बात याद रखनी चाहिए!
थोडा हट कर सोचो, भगवान को मानना ओर जानना दोनों अलग बाते हे जो मानते है वो जानते नही ओर जो जानते है ऊनेह मानने की जरूरत नहीं पड़ती