Author Topic: Idioms Of Uttarakhand - उत्तराखण्डी (कुमाऊँनी एवं गढ़वाली) मुहावरे  (Read 134468 times)

एम.एस. मेहता /M S Mehta 9910532720

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दिनेश जी,

धन्यवाद,

एक और देखिये..

एक दिन पून, दिवि दिना पून,
तीसर दिन भैसा दूँन

यानी एक दिन का मेहमान दो दिन का मेहमान

Dinesh Bijalwan

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धन्यवाद मेह्ता जी,
कुछ और परस्तुत है:-
कागा कक्डादी रौ - पिन्नापकदी रौ - हाथी चलता रहाता है - कुत्ते भौकते रहते है
       
कागा खाऊ त खाऊ निथर बिक्ख त बढाऊ
चुलखादि को भेल-    चूल्हे की उचाइ  ही  किसी के लिए गिरने का कारण बनना

Dinesh Bijalwan

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होती की बिखोति - बिखोत का त्योहार  तभी अछ्छा लगता है जब पैसा पल्ले हो (सम्पन्न हो)
गरीब मौ को नर्सिन्ग - निर्बल के बल राम

Risky Pathak

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लग्ने भगे, बर कै हगन
लग्न(शादी में) के वक्त, वर को शौच आना|


अर्थ: अन्तिम वक्त पर ही सारे काम याद आना|


एम.एस. मेहता /M S Mehta 9910532720

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मुश् क पथील मुश् जस .

मतलब : जैसा बाप वैसा बेटा. .

Dinesh Bijalwan

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काणी बिराली मान्ड पतौयनू - कानी बिल्ली को दूध के बदले माड से बहलाना
जू अपणू दाडी नि माठलू वो हैका को काम्लू  क्या काट्लो - जो अप्नी दाडी हि नही बना सकता वो किसी दूसरे का नुक्सान क्या करेगा

Dinesh Bijalwan

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सुण्नी सबु की कर्नी अप्णा गौ की - सुनना सबकी पर करना अपने मन की |

एम.एस. मेहता /M S Mehta 9910532720

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मुस क जान जाण रे विराव खेल

यानी : किसी के जाण पर आफत और किसी के हसी मजाग

Dinesh Bijalwan

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भैर लाल भित्र क्वाल - बाहरी चमक दमक अन्दर से खस्ताहाल
काला कि सार काला कि बोइ जाणो - माँ ही बच्चे की भाषा समझती है |

Parashar Gaur

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Gadwali Kahawate    ( Shri subash Kandpal ji ki saujane se )


1. मयारू नौनू दूँ नि सकुदु .. २० पता ख़ूब सक्दा ...

2. जीं बोऊ (भाभी ) पर ज्यादा सारू छो वी भेजी भेजी बुनी

3. तिम्लेया तिम्ली खतया नांगा नांगा रैन

4. बिरालू मर यूं सबुन्न देखी ... दूध खात्युओं कैन नि देखी ...

5. लुकारी देखी लैरी पैरी ,अपनी देखी हुगादी नंगी ,चुच्यों बाबा की

6. मति फिरी ,में तें स्ये नि मांगी ...

7. पीली ता अपनी बानी ... नाथर लाता की बानी सही

8. पौदा बिराल्युं माँ मूसा नि मर दा ...


9. पैन्सा नीई पल्ला ...द्वीए बया कल्ला .....

10. नि खांदी ब्वारी सै सुर खांदी


11. बगैर अफ़ मुर्या स्वर्ग नि जयेन्दु

12. तलब न तन्खा, नाम लछुवा हौलदार.

13. पौ ना पगार, भजदम हवलदार

14. जो नि धोलो अपड़ो मुख, उ क्या देलो हैका सुख।

15. पढ़ाई ळिखाई बल जाट, और १६ दुनी आठ ।

16. नि खांदी ब्वारी , सै-सुर खांदी ।

17. लुखु क सटि बुसाई म्यारा चौल बिसैई

18. भेल़ लमड्यो त घर नी आयो, बाघन खायो त घर नी आयो।

19. मि त्येरा गौं औलू क्या पौलू,तु मेरा गौं ऎल्या क्या लैल्यो।

20. कख उमड़े कख बरखें।

21. ठुलो गोरू लोण बुकाओ,छोटु गोरू थोबड़ु चाटु।

22. लूण त्येरी व्वेन नी धोली,आंखा मीकु तकणा।

23. बिंडि बिरल्यून मूसा नी मरदा।

24. रांडो नाक जी नि हूंदू ता गू भी खा जांदी

25. थूका आंसू लगाणा छन, मूता दिवा जगाणा छन

26. सुबेरौ मुक धोयुँ और बाबू ब्यो कयूँ काम औंद।

27. बांटी बूंटी खाणि गुड़ मिठै, इखुलि इखुलि खाणि गारे कटै।

28. भग्यानो भै काल़ो, अभाग्यू नौनू काल़ो।

29. तुम्हारा जौ, तुम्हारो जन्द्रौ।

30. झूटा सच्चा पितर, गया जैकी दिखेला।

31 नोनियाल की लाई आग , जनाना को देखुए बाघ

32. पढियौं फ़ारसी, बेचणु तैल

33. जख कुख्दो कुखड़ा नि बास दा, वख रात नि होन्दि

parashar

 

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