Author Topic: REMARKABLE ACHIEVEMENTS BY UTTARAKHANDI - उत्तराखंड के लोगों की उपलब्धियाँ  (Read 76265 times)

एम.एस. मेहता /M S Mehta 9910532720

  • Core Team
  • Hero Member
  • *******
  • Posts: 40,912
  • Karma: +76/-0
After Bhavna Barthwal in Zea TV reality show, Shuriti Kandpal now in Big Boss from Uttarakhand

बिग बॉस की मेहमान सुकीर्ति कांडपाल

नैनीताल : टेलीविजन जगत का लोकप्रिय शो बिग बॉस सीजन-आठ में उत्तराखंड की बेटी भी बिग बॉस के घर में मेहमान रहेगी। सिने स्टार सलमान खान द्वारा होस्ट इस शो में 105 दिनों तक दर्शक मेहमानों की दिनचर्या व क्रियाकलापों को देखेंगे।

नैनीताल निवासी हाई कोर्ट बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष व उपमहाधिवक्ता बीडी कांडपाल की बेटी सुकीर्ति कांडपाल ने कम समय में टीवी जगत में नाम कमा लिया है। सेंट मैरी कालेज से दसवीं पास करने के बाद सुकीर्ति ने सोफिया कालेज मुंबई से ग्रेजुएशन किया। उन्होंने कालेज से दिनों में ही इवेंट करना शुरू कर दिया। 17 साल की उम्र में जर्सी नंबर दस व स्टार वन के सीरियल 'दिल मिल गए' में अभिनय की शुरुआत की। जी टीवी की लोकप्रिय सीरियल 'अगले जनम मोहे बिटिया ही कीजो' में सिद्धेश्वरी की दमदार भूमिका निभाकर दर्शकों के दिलों में जगह बना ली। सीरियल 'प्यार की एक कहानी', 'कैसा ये इश्क है', 'अजब सा रिस्क है', में लीड रोल किया। सुकीर्ति ने पीसी ज्वैलर्स के फेम ऑफ मार्को में अभिनय करने के साथ ही जी रिश्ते अवार्ड व एक और अवार्ड कार्यक्रम में होस्ट कर प्रतिभा का लोहा मनवा चुकी हैं।

बेटी की सफलता से पिता गदगद

बेटी सुकीर्ति के बिग बॉस सीजन आठ में सेलेक्ट होने पर पिता बीडी कांडपाल गदगद हैं। उन्होंने कहा कि पहली बार बिग बॉस जैसे लोकप्रिय शो में बेटी को सेलेक्ट किया गया है। वह शो व सीजन में उत्तराखंड की पहली कलाकार है।

मुझे सपोर्ट करें : सुकीर्ति

शहर की बेटी व प्रसिद्ध टीवी कलाकार बिग बॉस सीजन आठ में एंट्री के बाद उत्साहित हैं। बुधवार को दूरभाष पर सुकीर्ति ने कहा कि उत्तराखंडी होने के नाते उन्हें गर्व है, इसलिए उम्मीद भी है कि राज्य के अलावा देशभर में रह रहे उत्तराखंडियों से सपोर्ट की जरुरत होगी।

एम.एस. मेहता /M S Mehta 9910532720

  • Core Team
  • Hero Member
  • *******
  • Posts: 40,912
  • Karma: +76/-0
मोदी करेंगे उत्तराखंड के इन बालवीरों का सम्मान

गर्व आज हमें इस बात पर करना चाहिए कि उत्तराखंड प्रदेश के दो बच्चे बहादुरी पुरस्कार के लिए चुने गए हैं। इन बच्चों को 24 जनवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पुरस्कृत करेंगे। इसके बाद ये गणतंत्र दिवस परेड में हिस्सा लेंगे।

पहली चमोली की मोनिका जिसने एक बच्चे को बचाने के लिए अलकनंदा में छलांग लगा दी और उसको बचाते हुए खुद जान दे दी। दूसरा ऋषिकेश का लाभांशु जिसने नहर में डूबते दो सैलानियों को बचाया।

शर्म हमें इस बात पर करना चाहिए कि मौत के ये मुहाने आज भी खुले हुए हैं। जहां मोनिका की जान गई, वहां आज भी पहले जैसा ही खतरा बरकरार है तो जहां लाभांशु ने जान की बाजी लगाई, वो जानलेवा जगह आज भी जस की तस है।

यानी डूब मरने के रास्ते बंद नहीं हुए हैं और शासन-सत्ता में बैठे जिम्मेदार लोगों के शर्म से डूब मरने के भी।
चमोली जिले के कर्णप्रयाग ब्लाक के कालेश्वर गांव की वीर बाला मोनिका को मरणोपरांत राष्ट्रीय वीरता पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा।

16 जून 2014 को चंद्रमोहन सिंह रावत की 17 वर्षीय इस बेटी ने गांव के ही 12 वर्षीय साहिल को डूबने से बचाने को अलकनंदा में छलांग लगा दी थी।

साहिल पानी लेने नदी तट पर गया था। साहिल को तो वह निकाल लाई, लेकिन खुद नदी की लहरों के साथ गुम हो गई। मोनिका राजकीय इंटर कॉलेज लंगासू में 11वीं कक्षा की छात्रा थी।

पुरस्कार लेने के लिए गांव के प्रधान हरीश चौहान और मोनिका के दादा बलवंत सिंह गुरुवार शाम को दिल्ली पहुंच गए हैं।

लाभांशु ने दो लोगों को डूबने से बचाया
तीर्थनगरी ऋषिकेश के चंद्रेश्वर नगर निवासी लाभांशु शर्मा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के हाथों वीरता पुरस्कार हासिल करने के लिए परिवार के साथ दिल्ली पहुंच गए हैं।

लाभांशु शर्मा ने शक्ति नहर में डूब रहे दिल्ली के दो पर्यटकों को जान की बाजी लगाकर बचाया था। राष्ट्रीय उच्च माध्यमिक विद्यालय, बेलडी हरिद्वार में कक्षा 10 के छात्र कुश्तीबाज लाभांशु के पिता सेना से सेवानिवृत हैं। मां आरती शर्मा दिल्ली पुलिस में इंस्पेक्टर है। लाभांशु को उत्तराखंड के पुलिस महानिदेशक द्वारा भी सम्मानित किया जा चुका है। (amar ujala)

एम.एस. मेहता /M S Mehta 9910532720

  • Core Team
  • Hero Member
  • *******
  • Posts: 40,912
  • Karma: +76/-0
उत्तराखंड की दो हस्तियों को मिला पद्म पुरस्कार

देश के जाने-माने भूगर्भ वैज्ञानिक डॉ. केएस वल्दिया को भूगर्भ क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य करने पर पद्म भूषण सम्मान मिला है। मूलत: पिथौरागढ़ के रहने वाले और वर्तमान में नैनीताल में रह रहे डॉ. वल्दिया कुमाऊं विवि के कुलपति भी रह चुके हैं।

साथ ही कला के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए मूल रूप से अल्मोड़ा के स्युनराकोट निवासी गीतकार को प्रसून जोशी को पद्मश्री अवॉर्ड मिला है।

प्रो. वाल्दिया ने जियोलाजी ऑफ कुमाऊं लेसर हिमालय, डायनामिक हिमालया, नैनीताल एंड ईस्ट एनवायरमेंटल जियोलाजी, एक थी नदी सरस्वती, जियोलॉजी, एनवायरमेंट एंड सोसाइटी आदि किताबें लिखी हैं। पद्म भूषण पुरस्कार की जानकारी मिलते ही नैनीताल स्थित उनके आवास पर बधाई देने वालों का तांता लग गया।

उत्तराखंड को गौरवान्वित करने वाले गीतकार प्रसून जोशी के पिता शिक्षा विभाग में अधिकारी के रूप में कुमाऊं और गढ़वाल मंडल में सेवाएं दे चुके हैं। प्रसून की रिश्तेदारी चौसार में है, जहां उनका कभी-कभी जाना-आना होता है।

रख्यात भूवैज्ञानिक डॉ. केएस वल्दिया को पद्मभूषण सम्मान मिलने से पिथौरागढ़ जिले के लोग गौरवान्वित हैं। इससे पहले 2007 में डॉ. वल्दिया को पद्मश्री सम्मान मिल चुका है। 20 मार्च 1937 को जन्मे डॉ. वल्दिया ने 1963 में लखनऊ विश्वविद्यालय से पीएचडी की।

उन्होंने पिथौरागढ़ जिले के कई कॉलेजों में शिक्षण का काम भी किया। इसके अलावा वह जेएनयू में भी अध्यापन का काम कर चुके हैं। इस समय वह बंगलूरू में भूवैज्ञानिक संस्थान में कार्यरत हैं। उनको 2007 में भूविज्ञान और पर्यावरण के क्षेत्र में उल्लेखनीय काम के लिए पद्मश्री सम्मान मिला।

डॉ. वल्दिया का मकान यहां घंटाकरण में है। वह वर्ष में एक बार गर्मियों में यहां परिवार सहित रहने आते हैं। डॉ. वल्दिया ने पिथौरागढ़ में मैग्नेसाइट की उपलब्धता की खोज की थी। उन्होंने यहां के भूवैज्ञानिक स्थिति का गहराई से अध्ययन किया। वह भूकंप की दृष्टि से संवेदनशील पिथौरागढ़ में हो रहे अनियोजित विकास को लेकर कई बार चिंता जता चुके हैं।

डॉ. वल्दिया ने 1992 में यहां आयोजित एक व्याख्यान में लोगों को चेताया था कि आने वाले समय में इस इलाके में भूकंप आ सकता है। वह आज भी लोगों को जमीन के अंदर होते रहने वाली हलचलों के प्रति आगाह करते रहते हैं।

डॉ. वल्दिया को पद्मभूषण सम्मान मिलने पर देवसिंह इंटर कॉलेज के प्रधानाचार्य डॉ. अशोक पंत ने कहा कि इसके वह हकदार हैं। हिमालयन ग्राम विकास समिति गंगोलीहाट के कार्यक्रमों में डॉ. वल्दिया कई बार हिस्सा ले चुके हैं। समिति के अध्यक्ष राजेंद्र बिष्ट ने कहा कि डा. वल्दिया को यह सम्मान मिलना पूरे उत्तराखंड के लिए खुशी की बात है। (amar ujala)

 

Sitemap 1 2 3 4 5 6 7 8 9 10 11 12 13 14 15 16 17 18 19 20 21 22