Author Topic: Exclusive Photos of Tehri Dam, Uttarakhand-टिहरी गढ़वाल और डाम की कुछ तस्वीरें  (Read 210035 times)

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राज्य सरकार नहीं दे रही पुलों के लिए धन


टिहरी बांध प्रभावित क्षेत्र में प्रस्तावित चार पुलों का निर्माण जल्द पूरा होता नजर नहीं आ रहा है। सांसद विजय बहुगुणा के साथ हुई टीएचडीसी व पुनर्वास निदेशालय के अधिकारियों की बैठक में बताया गया कि पुलों के निर्माण के लिए राज्य सरकार धन अवमुक्त नहीं कर रही है।

बांध प्रभावित क्षेत्रों के विकास एवं पुनर्वास से संबंधित कार्यो की समीक्षा के लिए सांसद विजय बहुगुणा ने टीएचडीसी व पुनर्वास निदेशालय के अधिकारियों के साथ बैठक की। टीएचडीसी के अधिकारियों ने बताया कि डोबरा-चांटी मोटर पुल के लिए वह अपने हिस्से का पैसा देने को राजी है, लेकिन राज्य सरकार ने पूरा पैसा नहीं दिया। वहीं घोंटी हल्का पुल निर्माण के बाबत कार्य शुरू नहीं होने का कारण राज्य सरकार द्वारा पैसा न दिया जाना बताया गया।
 टीएचडीसी के अधिकारियों ने सांसद को बताया कि चिन्यालीसौड़-जोगथ मोटर पुल के लिए राज्य सरकार व केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय के बीच समझौते के अनुसार राज्य सरकार को 25 करोड़ रुपए देने हैं, लेकिन राज्य सरकार वह भी नहीं दे रही। यही स्थिति भल्डियाना-मोटना झूला पुल में है। सांसद ने टीएचडीसी के अधिकारियों को हाइड्रो इंजीनियरिंग कालेज में कम बजट के काम में स्थानीय लोगों को प्राथमिकता देने को कहा।
उन्होंने टीएचडीसी को बांध प्रभावित क्षेत्रों में महिलाओं और बच्चों के लिए विशेष स्वास्थ्य शिविर लगाए जाने और महिलाओं के लिए स्वरोजगार संबंधी योजनाएं चलाने का सुझाव दिया। बैठक में परियोजना महाप्रबंधक एएल शाह, उपमहाप्रबंधक राकेश खरे, पुनर्वास के नोडल अधिकारी प्रवीन कुमार, एसडीएम हरक सिंह रावत आदि उपस्थित थे।

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पौड़ी से प्रकाशित गढ़वाली पाक्षिक समाचार पत्र खबर-सार के दस साल पूरे होने के अवसर पर कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया। इस दौरान लोक कवियों ने पहाड़ की वेदना को शब्दों में पिरोकर सामाजिक ताने- बाने व तंत्र की मौजूदा हालत पर तीखे तंज कसे। नेता और नौकरशाही कवियों के व्यंग्यात्मक बाणों के मुख्य शिकार रहे।

रविवार को मंडल मुख्यालय स्थित प्रेक्षागृह के सभागार में आयोजित कवि सम्मेलन में प्रसिद्ध लोक-गायक नरेद्र सिंह नेगी ने अपनी कविताओं में व्यवस्थाओं पर जबर्दस्त प्रहार किया। श्री नेगी ने 'पाणी का ऐड़ा डाम छन..' कविता के माध्यम से सूबे की व्यवस्थाओं के हर पहलू पर प्रहार किया।

 इसके अलावा श्री नेगी ने 'तुमन मै बच्यांण सिखाई, ब्वलण नि सिखाई, तचण देई, उमलण देई, थडकड देई पण पकण नि देई..' प्रस्तुत की। श्री नेगी ने पलायन की पीड़ा पर 'म्वरि-म्वरि की मांडू पैल्या, जख तलै ह्वे साकू निभैल्या..' प्रस्तुत की। दिल्ली से आए लोक कवि ललित केशवान ने राजधानी के मुद्दे को कुछ यूं बयां किया 'गैरसैंणकि दगड़ि कैकू टिपणा नि मिलणूं चा..',

 हास्य कवि जयपाल सिंह रावत ने 'छिपड़ू दा..' समेत कई हास्य प्रस्तुतियों से श्रोताओं को लोट-पोट कर दिया। टिहरी डाम को लेकर कवि सतीश बलोधी की प्रस्तुति 'भगीरथी मा डाम धैरि यालि मर्द का बच्चों न..' खूब सराही गई। वीरेंद्र पंवार ने 'मि कविता इलै नि लिखणूं छौं..' और जगदंबा चमोली ने 'ब्वारि जई चा नारा लगाणौं कलेक्ट्रेट मा..' कविता सुनाई।

कवि सम्मेलन में मुरली सिंह दीवान, नीता कुकरेती, कु. पुष्पा, बीना बेंजवाल, नागेंद्र जूड़ी आदि ने भी काव्य पाठ किया। संचालन गणेश कुकशाल एवं वीरेद्र पंवार ने संयुक्त रूप से किया।

 इस मौके पर खबर सार के मुख्य संपादक विमल नेगी, प्रसिद्ध चित्रकार बी. मोहन नेगी, गीतकार गणेश वीरान, फिल्म निर्देशक अनिल बिष्ट, त्रिभुवन उनियाल, वीरेद्र खंकरियाल आदि मौजूद थे।

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Asia's largest dam to be unveiled

Despite several hiccups, authorities have completed the construction of Asia's highest dam - Tehri - but suspense grew over the
commissioning of its first phase.

Built at a cost of more than Rs 6,000 crore on the Bhagirathi river in Tehri district of Uttaranchal, the dam authorities are now mulling over the question of the commission of the first phase (1,000 MW) of the controversial 2,400 MW project, which depends on the closure of T-2 tunnel, which is mandatory to fill the reservoir.

The cost of the dam is being shared by 75:25 (equity proportion) by the Centre and Uttar Pradesh government.

Top officials of Tehri Hydro Development Corporation (THDC), the implementing agency of the hydel project, remained skeptical about the commissioning date but expressed the hope that the T-2 tunnel would be closed by September-October this year.

When contacted, Tehri district magistrate Punit Kansal said the date of the commissioning of the first phase is yet to be announced.

The construction of 260.5 metre dam, which is at a height of 840 metres from sea level, was completed in March this year.

"We have completed almost all the civil work of the dam. Only shaft spillway is yet to be constructed which can be done if the T-2 tunnel is closed," assistant general manager of Tehri dam, BS Bisht said.

Hopes of the commissioning of the first phase of the multi-purpose dam had soared in July 2004 following a sudden rise in water level of Bhagirathi river that inundated several parts of old Tehri town.

Following heavy floods, the authorities swung into action and evacuated all those people who were battling for a better rehabilitation package and prepared grounds for the early commissioning of the project.


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AANANDA RESORT NARENDR NAGAR TEHRI GARHWAL UTTARAKHAND


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