भगवान सिंह जयाड़ा मेरा नजरिया मा गौउ कु बिकाश ही देश कु असली बिकाश छ ,,,
गौउ माँ बदलाव
समय बदली साधन बदल्या ,बद्लिगी सरू समाज |
बदलाव की आंधी माँ यख ,होणु छ नयु आगाज ||
नई नई शुख सुबिधा देखा,अब गौउ गौउ माँ ऐज्ञन |
पुराणी वाली सब बात ,अब यख सम्लौन्या रैज्ञन ||
घरु घरु माँ देखा सब सुबिधा ,शैरू वाली व्हेज्ञन |
अब त गौउ माँ हमारा ,सभी शहरी सुबिधा ऐज्ञन |
खाणु राणु बद्लिगी सब कुछ ,बद्लिगी जीवन शैली |
अब सब कुछ बद्लिगी ,नि रै कुछ जन थोऊ पैली ||
क्य नि छ गौउ माँ आज ,सब शुख सुबिधा व्हेगन |
खाण कमौंण की यख ,नई नई शुख सुबिधा ऐज्ञान ||
गौउ गौउ मा शैर बाजारू की सी ,यख रौनक एई छ |
सभी जरूरत की चिज्युँन ,यख दूकान सदा सजी छ ||
बिजली और टेलीफोन की लेंन ,गौउ गौउ मा बिछी छ |
इन्टरनेट और मोबाइल की सुबिधा सभी जगा पौंछी छ||
सब का हाथ माँ मोबाइल ,सरी दुनिया सी जुडयूं छ |
खबर सार सारी दुनिया की ,पल पल की राख्न्युनु छ||
सड़क्यों का गौउ गौउ माँ ,कना जाल बिछयां छन |
गौउ जुडीज्ञन आपस माँ ,दूरी घटीज्ञन सभी खुशी छन ||
गौउ गौउ माँ स्कूल खुलिग्या ,कोलेज सब जगा व्हेज्ञन |
पढ़ा लिखा अ खूब ,पैली वाली बात अब यख नि रैज्ञन ||
बड़ा बड़ा आई टी संस्थान अब यख घर माँ ही खुलिज्ञन |
बिकाश का बड़ा रस्ता आज,हमारा पहाड़ माँ भी ऐज्ञन||
बस बिकाश कु फायदा ,अब हम तै उठौण की जरूरत छ |
पहाड़ कु पिछ्णुपन कै,दूर करण कु शिक्षा की जरूरत छ ||
हौस्पिटल की सुभिदा भी ,अब सभी जगा मिली जाली |
पैली की तरोऊ अब ,जनता दुःख तख्लिफ माँ नि राली ||
बस कमी छ त यख अब , रोजगार पहाड़ माँ कब आलू |
बस कुछ दिनु माँ जल्दी ,वेकु भी रास्ता निकली जालू||
जब पहाड़ कु बच्चा ,अपरा पहाड़ माँ बेरोजगार नि रालु |
वे दिन उत्तराखंड ,सच माँ खुशहाल राज्य व्हेई जालू ||
रुकी जालू मनखी ,पहाड़ माँ ही सदानी कु व्हेई जालू |
पलायन कु यु सिलसिला, यख सदानी कु रुकी जालू ||
समय बदली साधन बदल्या ,बद्लिगी सरू समाज |
बदलाव की आंधी माँ यख ,होणु छ नयु आगाज ||
रचियता >भगवन सिंह जयड़ा
दिनांक >३१.०८.२०१२
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भगवन सिंह जयड़ा दिनांक >३१.०८.२०१२
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