गढवाळ का नामी गिरामी लोक अर जाती(मलारि जुग बिटेन अब तलक ) फड़क -24
गढ़वाल की विभूतियाँ व समाज (मलारी युग से वर्तमान तक ) भाग 24
Great Garhwali Personalities and Societies of Garhwal Part -24
भीष्म कुकरेती (Bhishm Kukreti )
देवपाल राजा अर उत्तराधिकारी (1250 -1280 ई.)
देव पाल अर वैका उत्तराधिकारी (१२५० - १२८० ई) : देवपाल अर वैका उत्तराधिकार्युं न पच्छमी गढ़ देश पर बलवन का करीब राज करी. राज बलबन न देव पाल को राज्य प्र१२५७ ई मा आक्रमण करी छौ .
एकचक्रा को बाहुबाण (चाहुबाण) राजबंश (तकरीबन 1280 -1390 AD )
जण श्रुति, अर अल्लाठनाथ की द्वी संस्कृत पोथी ' निर्णय सूत्र' अर 'सकलपुराण सम्मुचय' को हिसाब से डा. शिव प्रसाद डबराल न बतायी बल पच्छमी गढवाल अर जमुना का पूर्ब (चकराता जिना)
चौहाण (बाहु बाण ) जाती क 1230 - 1420 ई. राज राई अर राजधानी क नाम एकचक्री थौ .
सरूप बाहुबाण (चौहाण ): सरूप एक बीर भड़ थौ अर वैन बाहुबाण राज्य की स्थापना 1230 AD का करीब करी.
कर्ण देव : कर्ण देव राजा सरूप को नौनु थौ अर त्यागी, दानी, भड़ व शिव भक्त छौ
उद्धरण : कर्ण देव कू लौड़ एक बड़ो भड़, गंभीर, धीरू अर सुमति वल़ू राजा थौ, वैकी लड़ाई सीमा पर दिल्ली क रज्जा/सामंत का दगड बि ह्व़े
चन्द्र सेन : उद्धरण कू नौनु बि बड़ो दानि अर शैव्य थौ
सूर्यसेन : चन्द्र सेन कू बड़ो नौनु का नाम सूर्यसेन छौ अर वै ही राजा न अल्लाट नाथ तै 'निर्णय सूत्र ' लिखणो प्रेरणा दे थै .
अल्लाट नाथ सूरी : अल्लाट नाथ सूर्यसेन को राज दरबार मा संकृत को पंडित छौ. अल्लाट नाथ सुरी न 'निर्णय सूत्र' अर सकल पुराण सम्मुचय ' पुस्तक लेखिन.
'निर्णय सूत्र ' एक धर्म शाश्त्र पर नामी किताब छे अर पैथराँ निर्णय सिन्धु, तीर्थ निर्णय , कालनिर्णय , निर्णय दीपक जन किताबुं मा 'निर्णय सूत्र' का उदाहरण दिए गेन
निर्णय सूत्र का पैली भाग मा अल्लाट नाथ सुरी न सूर्यसेन की चार साख्युं (पीढी ) का वर्णन करी
प्रताप सेन : सूर्य सेन कू भुला कुंवर प्रताप सेन अपण बड़ा भैजी क बान लक्ष्मण को जन आज्ञाकारी थौ
देव सेन : देव सेन बि अपण ददा बुबा क तरां बीर अर शिव भक्त थौ
रतन सेन अर उत्तराधिकारी (1390-1420)
रतनसेन अर उत्तराधिकारी : रतन सेन अर वैका उत्तराधिकार्युं समौ १३९०-१४२० का माने जांद अर यूँ राजाओं क राज पच्छमी गढवाल ही थौ .तैमुर लंग न यूँ को राज पर चढ़ाई करी थै .
देवसेन : देवसेन रतनसेन को वंशज थौ
तुगलक उत्तराधिकारी तैं शरण : तुगलकों पर जब मुगलों न आक्रमण करी त देव सेन या रतन सेन न फिरोज तुगलक का बेटा मुम्मद खां तैं शरण दे छे
Reference: Dr Shiv Prasad Dabral, Uttarakhand ka Itihas -3 ( History of Uttarakhand - 3
History of Garhwal, History of Kumaun )
बकै खंड 25 मा बाँचो
To be continued in 25th Part