उत्तराखंडी मुहावरों की बहुत सुन्दर प्रस्तुति
प्यारा पहाड़ याद आ रहा पढ़कर....
मन में डर एक है.....आने वाले समय में इनके खो जाने का अंदेशा
हो सके तो हिंदी में अर्थ लिखने का प्रयास करें.
"भैर बल लाल भीतर कुहाल"
(बाहरी तौर पर अच्छे..लेकिन अंदरूनी हालत ठीक नहीं)
"नि कर ज्वानु की सौर...फुल्याँ जोंखा थूक मा न भौर"
जवान दिखने के लिए..मूछों की शक्ल बदलने की का प्रयास
"ज़िग्यांसू"