दोस्तों जैसा की हम सब जानते हैं उत्तराखंड मैं इस बार दैवीय आपदा ने बहुत ही ज्यादा कहर भरपाया है,बहुत सरे लोग बेघर हुए और बहुतों ने अपने जिंदगी भ गवां दी है ,दोस्तों इस टोपिक के अंतर्गत हम उत्तराखंड मैं हुई दैवीय आपदाओं के तहत ली गयी फोटो ग्राफ्स यहाँ पर लोगों के सामने लायेंगे जैसे मेरा पहाड़ के बरिष्ठ सदस्य गानों ने भी आपदा ग्रस्त इलाकों का दोंरा किया है ,और कुच्छ इस दौरान छूती पर भी थे तो उन्होंने भी कुच्छ तस्वीरें ली होगी तो आप सभी से निवेदन कि -आप उन तस्वीरों को यहाँ पर पोस्ट करें !
उत्तरराखंड के गढवाल और कुमायूं मंडलों में गत दिनों की लगातार वर्षा के कहर से जारी मानसून के दौरान अब तक 200 व्यक्तियों की मौत हो चुकी है तथा कोटेश्वर विघुत परियोजना में पानी प्रवेश कर जाने से यह डूब गयी है।
राज्य सरकार ने राहत और बचाव के लिये केन्द्र से पांच हजार करोड रूपये की मांग की है। उत्तराखंड में इस वर्ष आई प्रलयंकारी वर्षा ने भारी तबाही मचाई है जिसके चलते हजारों लोग बेघर हो गये हैं। राज्य की 90 फीसदी सडकें क्षतिग्रस्त हुई हैं और करोडों रूपये की! उत्तराखंड में बारिश ने भारी तबाही मचाई है। राज्य के 13 जिलों में ज्यादातर भारी बारिश की चपेट में है। राज्य के मुख्यमंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने आपदा से निपटने के लिए केंद्र से मदद मांगी है। स्कूल-कॉलेज को तीन दिन के लिए बंद कर दिया गया है।
समूचे प्रदेश में बारिश के चलते जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। पिछले चार दिनों से हो रही मूसलाधार बारिश के चलते प्रदेश में भारी जन-जीवन की हानि हुई है, राज्य के आपदा न्यूनीकरण एवं प्रबंधन केंद्र ने बताया कि बारिश के कारण राज्य में राष्ट्रीय राजमार्ग सहित तमाम सड़कें भूस्खलन एवं बारिश के चलते बंद हैं, प्रसिद्ध चारधाम यात्रा भी स्थगित है।
आपदा प्रबंधन केंद्र ने बताया कि स्थानीय पुलिस प्रशासन के साथ आईटीबीपी व सीमा सड़क संगठन के लोग राहत कार्य में जुटे हुए हैं लेकिन प्रकृति के आगे सब बेबस है। राहत कार्य में भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
हरिद्वार में गंगा खतरे के निशान से 2 सेमी ऊपर बह रही है। पानी के तेज बहाव के कारण भीमगौड़ा बैराज का एक दरवाजा क्षतिग्रस्त हो गया है गंगा में पानी बढ़ने से 20 गांव बाढ़ से त्रस्त हो गए हैं। प्रभावित गांव के लोगों को सुरक्षित स्थान पर ले जाने के लिए पुलिस प्रशासन को सेना की भी सहायता लेनी पड़ी है।
देहरादून में बारिश ने पिछले 40 सालों का रिकार्ड तोड़ दिया है। 1 जून से 20 सितंबर के बीच सन् 1966 में 2930 मिमी बारिश दर्ज की गई थी रविवार 19 सितंबर को बारिश 44 साल का रिकार्ड तोड़ते हुए 3000 मिमी का रिकार्ड पार कर दिया है।
M S JAKHI